पार्रिकर ने कहा अफगानिस्तान के कुछ हिस्सों में केमिकल वेपंस का प्रयोग, पाक की ओर इशारा!
नई दिल्ली। रक्षा मंत्री मनोहर पार्रिकर ने एक अहम और बड़ा बयान दिया है। अगर उनकी बात सही है तो फिर भारत पर खतरा डबल नहीं बल्कि ट्रिपल हो चुका है। रक्षा मंत्री पार्रिकर ने कहा है कि अफगानिस्तान और उत्तरी हिस्से में केमिकल वेपंस का प्रयोग हो रहा है। कहीं न कहीं उनका इशारा पाकिस्तान की तरफ भी था। पार्रिकर ने ये रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) के एक कार्यक्रम में कहीं।
फिलहाल पुख्ता जानकारी नहीं
रक्षा मंत्री पार्रिकर ने कहा कि अफगानिस्तान से कुछ ऐसी रिपोर्ट्स आ रही हैं यहां पर कुछ हिस्सों में केमिकल वेपंस का प्रयोग हो रहा है। उन्होंने कुछ तस्वीरों को भी देखने का वादा किया जो काफी विचलित करने वाली थीं। उन्होंने बताया कि जो तस्वीरें आई हैं उसमें स्थानीय नागरिकों के शरीर पर फफोले पड़े हैं। पार्रिकर के मुताबिक अभी इस बारे में कोई भी पुख्ता जानकारी नहीं है। इसके साथ ही उन्होंने इंडियन आर्मी से अपील की कि वह किसी भी तरह के युद्ध के लिए तैयार रहे। उन्होंने भारत पर किसी भी तरह के बायोलॉजिकल हमले या फिर केमिकल वेपंस के खतरे को भी नजरअंदाज कर दिया। पर्रिकर ने कहा कि देश पर भले ही केमिकल, न्यूक्लियर या फिर बायोलॉजिकल हमले का खतरा हो या न हो, लेकिन सेना को तैयार रहना होगा।
आर्मी को मिला एक खास हथियार
गुरुवार को ही इंडियन आर्मी को देश में बना वेपन लोकेटिंग रडार यानी डब्लूयएलआर मिलस है। इसे स्वाती नाम दिया गया है और डीआरडीओ ने इसे डेवलप किया है। इसके अलावा डीआरडीओ ने सेना को एक न्यूक्लियर, बॉयोलॉजिकल और केमिकल (एनबीसी) रेकी व्हीकल और एनबीसी ट्रीटमेंट ड्रग्स भी सेना को सौंपा है। रक्षा मंत्री मनोहर पार्रिकर ने कहा है कि डब्ल्यूएलआर को दूसरे देशों को तभी दिया जाएगा जब सेना की जरूरतें पूरी हो जाएंगी। उन्होंने कहा कि स्वाती ने उस समय अपना काम सही से किया है जब एलओसी पर किसी तरह की हैवी फायरिंग नहीं हो रही थी। आपको बता दें कि अफगानिस्तान में इस समय आईएसआईएस सक्रिय हो चुका है। पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठनों की मदद से उसने पाकिस्तान में तो पकड़ मजबूत कर ही ली साथ में अफगानिस्तान में भी वह सक्रिय हो चुका है।
Source: hindi.oneindia.com