गणतंत्र दिवस पर दिखेगा देवभूमि का जलवा

देहरादून, । गणतंत्र दिवस की परेड में इस बार भारतीय पेट्रोलियम संस्थान (आईआईपी) देहरादून के वैज्ञानिकों द्वारा विकसित बायोफ्यूल से वायुसेना का विमान राजपथ पर ऐतिहासिक उड़ान भरेगा। आईआईपी देहरादून के वैज्ञानिकों की मेहनत गणतंत्र के गौरवशाली मौके पर देशवासियों को देखने को मिलेगी। यहां के वैज्ञानिकों द्वारा जैट्रोफा पौधे से तैयार किया गया बॉयोफ्यूल सेना के विमान को रफ्तार देगा। जिसका नजारा आने वाले गणतंत्र दिवस पर दिखाई देगा। गणतंत्र दिवस की इस ऐतिहासिक उड़ान के लिए भारतीय वायुसेना के एंटोनोव-32 विमान को चुना गया है। सेना में इस विमान को उपयोग ट्रांसपोर्ट के लिए किया जाता है। 16,800 किलो वजनी इस विमान की रफ्तार 530 किमी. प्रतिघंटा है। गणतंत्र दिवस के दिन वायु सेना का ये एयरक्राफ्ट जयपुर से करीब आधा घंटे की उड़ान भरेगा। इसके लिए आईआईपी दून ने 1400 लीटर बायोफ्यूल उपलब्ध कराया है। इस मौके पर आईआईपी बायोफ्यूल प्रोजेक्ट के टीम लीडर डॉ. अनिल सिन्हा ने खुशी जताते हुए कहा कि ये उनके लिए गौरव की बात की बात है। आईआईपी परिसर में ही एक छोटे से प्लांट में जैट्रोफा से बायोफ्यूल तैयार किया जा रहा। एक खास प्रकार के जैट्रोफा पौधे के बीज से ईधन निकाला जाता है। वैज्ञानिकों का प्रयास है कि देश में अगले कुछ सालों में बॉयोफ्यूल का उत्पादन और खपत बढ़ाई जाए। वैज्ञानिकों की ही कड़ी मेहनत का ही नतीजा है कि आज बॉयाफ्यूल से 16,800 किलो वजनी विमान को उड़ाया जाएगा। इसे पर्यावरण के लिहाज से बड़ी उपल्ब्धि माना जा रहा है। इससे पहले 27 अगस्त 2018 को देहरादून से दिल्ली के लिए बायोफ्यूल से स्पाइस जेट की पहली कमर्शियल फ्लाइट उड़ाई गई थी। जिसके बाद अब जेट्रोफा से तैयार बॉयोफ्यूल से भारतीय वायुसेना का विमान उड़ान भरेगा। जो कि प्रदेश के लिए एक ऐतिहासिक क्षण होगा।

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