उत्तराखण्ड हार्टिकल्चर इन्टीग्रेटेड डेवल्पमेंट प्रोजेक्ट की समीक्षा
देहरादून,। प्रदेश के कृषि मंत्री सुबोध उनियाल ने विधान सभा सभा कक्ष में उत्तराखण्ड हार्टिकल्चर इन्टीग्रेटेड डेवल्पमेंट प्रोजेक्ट की समीक्षा बैठक किया। राज्य में पलायन रोकने, रोजगार सृजन एव किसानों की आय दो गुना करने हेतु डी.पी.आर. तैयार करने के निर्देश दिये। इस प्रोजेक्ट में 4 जनपद उत्तरकाशी, टिहरी, नैनीताल एवं पिथौरागढ़ को सम्मिलित किया जाएगा। विश्व बैंक से सहायता प्राप्त इस प्रोजेक्ट में 700 करोड़ रू0 का प्रावधान है। प्रथम चरण में 350 करोड़ रू0 का डी.पी.आर. तैयार किया जाएगा। इसका उद्देश्य उत्तराखण्ड में औद्यानिक कृषि के लिए अवस्थापना विकास करना, प्रशिक्षण देना, गुणवत्ता एवं वैल्यू एडेड पर फोकस कर ब्राण्ड स्टेट के रूप में सामने लाना है। उत्पाद में क्वालिटी कन्ट्रोल पर विशेष बल दिया जायेगा। इस प्रोजेक्ट में प्रोसेसिंग की सुविधा दी जायेगी ताकि उत्पादन होने के बाद उसी स्थल वैल्यू एडिसन किया जा सके। बैठक में कहा गया कि प्रोजेक्ट में शामिल चार जनपद उत्तरकाशी, टिहरी, नैनीताल एवं पिथौरागढ़ में 4 हार्टिकल्चर पार्क बड़े लागत के बनाया जाए। बैठक में कहा गया कि राज्य में मसरूम, चाय एवं रेशम की अधिक सम्भावना को देखते हुए इस पर फोकस किया जाए। सिंचाई सुविधा के अन्तर्गत ‘‘वन ड्राप मोर क्रॉप’’ सिद्धान्त पर पैदावार बढ़ाना है। इसके लिए ड्रिप सिंचाई पर जोर दिया गया। सभी जनपद में उद्यान क्षेत्र एवं एलायड के सम्भावनाओं का पता लगा कर उपयोग करने का निर्देश दिया गया। चारधाम मार्ग पर भटवाड़ी, एवं बड़कोट पर रिटेल एवं होल-सेल फ्लोरी कल्चर आउटलेट स्थापित किया जाए। यहां से गंगोत्री, यमुनोत्री को फूलों की आपूर्ति में सुविधा होगी। हल्द्वानी एवं नरेन्द्र नगर में कोल्ड स्टोरेज का भी प्रावधान करने का निर्देश दिया गया। बैठक में कहा गया कि इस प्रोजेक्ट में शामिल 4 जनपद उत्तरकाशी, टिहरी, नैनीताल एवं पिथौरागढ़ में मसरूम, फूल, सब्जी, जड़ी-बूटी, हर्बल एवं सगंध पौध-पुष्प के लिए कार्य योजना तैयार किया जाए। बैठक में सचिव डी0सेंथिल पांडियन, निदेशक उद्यान आर.सी. श्रीवास्तव, उप निदेशक संजय श्रीवास्तव तथा विभागीय अधिकारी मौजूद थे।