त्रिवेंद्र ने भाजपा का सम्मान बरकरार रखा
देहरादून। उत्तराखण्ड की थराली विधानसभा उपचुनाव में जीत दर्ज कर भाजपा ने न केवल अपनी साख बचाने में कामयाबी हासिल की, बल्कि देश के अलग-अलग राज्यों में हुए उप चुनावों में भाजपा की पराजय के तिलिस्म को तोड़ने में भी सफलता पा ली। हालांकि, पिछले विधानसभा चुनाव की अपेक्षा भाजपा प्रत्याशी की जीत का अंतर आधे से भी कम रहा, लेकिन मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के नेतृत्व में सरकार के सवा साल के कामकाज पर इस जीत से मुहर जरूर लग गई। भाजपा और खासकर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के लिए यह उपचुनाव पहली अग्निपरीक्षा के रूप में भी देखा जा रहा था। हालांकि, चुनाव बस एक सीट का ही था, लेकिन इसके बावजूद इसे कांग्रेस ने त्रिवेंद्र सरकार के सवा साल के कामकाज की कसौटी बना दिया। कांग्रेस के इस पैंतरे को भाजपा नेतृत्व और सरकार भी भलीभांति समझ रही थी। यही वजह रही कि पार्टी ने उपचुनाव में अपनी पूरी ताकत झोंक डाली। स्वयं मुख्यमंत्री ने यहां छह जनसभाएं और कई रोड शो किए। प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट और सरकार के अन्य मंत्री तो जुटे रहे।