नया कानूनः निजी व सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया तो वसूली के साथ जाना होगा जेल

लखनऊ । राज्य सरकार विरोध प्रदर्शन के दौरान सरकारी व निजी संपत्तियों की तोडफ़ोड़ पर अंकुश लगाने के लिए सख्त कानून बनाने जा रही है। इसके तहत दो विधेयक लाए जाएंगे जिनका मसौदा तैयार करने के लिए समिति का गठन किया गया है। विधायक में नुकसान की वसूली के लिए प्रावधान किया जाएगा। इसके साथ ही प्रदेश में क्लेम ट्रिब्यूनल का गठन भी किया जाएगा ताकि ऐसे मामलों का जल्द ही निस्तारण किया जा सके।
लोक संपत्ति के नुकसान पर वसूली के लिए कानून बनाने का निर्देश 2009 में सुप्रीम कोर्ट ने दिया था। इसके अनुपालन में 2011 में शासनादेश जारी कर अपर जिलाधिकारियों को इसकी जिम्मेदारी दी गई थी, लेकिन यह प्रभावी न हो सकी। बाद में 2014 में स्टेट लॉ कमीशन ने एक ड्राफ्ट तैयार कर सरकार को सौंपा था, लेकिन यह फाइल ठंडे बस्ते में ही पड़ी रही। अब नए सिरे से इसकी कवायद शुरू की गई है।

23 राज्यों में है कानून : मुख्य सचिव राजीव कुमार ने सोमवार को इस संबंध में बैठक की और दो विधेयक तैयार करने के निर्देश दिए। इसमें एक लोकसंपत्ति को नुकसान पहुंचाने से संबंधित होगा और दूसरा पब्लिक प्रॉपर्टी का दुरुपयोग (पोस्टर लगाना, वाल राइटिंग) से संबंधित होगा। उल्लेखनीय है कि देश के 23 राज्यों में इस बारे में कानून है, लेकिन उत्तर प्रदेश में अभी नहीं बनाया जा सका है।


इसी माह तैयार होगा ड्राफ्ट :
 प्रमुख सचिव गृह अरविंद कुमार ने बताया कि विधेयक का ड्राफ्ट तैयार करने के लिए सचिव ओपी वर्मा की अध्यक्षता में समित का गठन किया गया है। मुख्य सचिव ने समिति से 15-20 दिनों के भीतर ड्राफ्ट तैयार करके प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है। समिति में विभिन्न विभागों के पांच सदस्य हैैं। उन्होंने बताया कि लोक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने पर दर्ज किए जाने वाले मुकदमों से क्लेेम के मामले अलग होंगे। इनकी सुनवाई ‘क्लेम ट्रिब्यूनल में होगी।

आयोजक होंगे नुकसान के जिम्मेदार : प्रमुख सचिव गृह ने बताया कि प्रदर्शन के दौरान किए गए तोडफ़ोड़ की जिम्मेदारी इसका आयोजन करने वालों पर होगी। प्रदर्शन की अनुमति लेने पर संबंधित थानाध्यक्ष इसकी वीडियोग्राफी कराएंगे जिनका साक्ष्य के रूप में इस्तेमाल किया जा सकेगा। उन्होंने बताया कि जो लोग लोक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने के दोषी होंगे उनसे वसूली की जाएगी। भरपाई न होने पर उनसे भू राजस्व वसूली की तरह कार्रवाई की जाएगी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *