फिर अपनों के सपने पूरे किये सुनील देवधर ने
दूसरों को खुशियां देने में जो आनंद मिलता है, उसे शब्दों में व्यक्त करना मुश्किल होता है। बच्चे हमारे घर-आंगन की सबसे बड़ी खुशी होते है। कभी-कभी किसी हादसे के चलते अथवा बच्चों की ना समझी से यह खुशी चली जाती है, हमेशा के लिए तो नहीं लेकिन कब वापस लौटेगी, इसके बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता। हम बच्चों की गुमशुदगी के बारे में बात कर रहे हैं और हमारे देश में कितने ही बच्चे अपने घर से दूर किसी बालगृह में अपनों से मिलने का सपना देख रहे हैं। भाजपा के वरिष्ठ नेता सुनील देवधर को जब उत्तर-पूर्वी भारत में जनता की सेवा करने और पार्टी की नीति रीति से जनता को परिचित कराने के लिए भेजा गया तो उन्होंने बिछड़े हुए बच्चों को उनके घर तक पहुंचाने का बीड़ा उठाया। इसके लिए उन्होंने मायहोम इंडिया नामक एक संस्था की स्थापना की जो सफाई अभियान, वृक्षारोपण समेत कई सामाजिक कार्य करती है और उसका एक उद्देश्य बिछड़े हुए बच्चों को उनके घर तक पहुंचाना भी है। इसको अपनो से सपनो तक का नाम दिया गया है। पिछले 4 सालों में 1950 से अधिक बच्चों को उनके घर तक पहुंचाया जा चुका है। अभी हाल में 16 मई 2018 को 25 गुमशुदा बच्चों को उनके घर तक पहुंचाया गया। ये सभी बच्चे उत्तर प्रदेश के हैं और बच्चों को उनके अभिभावकों तक पहुंचा कर उन घरों में जिस प्रकार खुशी लौटायी गयी, उसकी कोई तुलना नहीं की जा सकती।
माय होंम इंडिया अपने कार्यक्रम सपनों से अपनों तक के तहत देश भर में गुमशुदा बच्चों से मिलकर उनके अभिभावकों के बारे में जानकारी एकत्रित करती है। कई बार नेपाल जैसे पड़ोसी देश के बच्चे बालगृहों में रहते मिले और उनके अभिभावकों से सम्पर्क कर उन बच्चों को उनके घर तक पहुंचाया गया। देश के विभिन्न प्रांतों में माय होम इंडिया के कर्मठ कार्यकर्ता बालगृहों के लगातार सम्पर्क में रहते हैं। राष्ट्रीय स्वर पर संस्था का कार्य देख रहे सुकेश झा ने मुंबई यूनिट से सम्पर्क किया तो पता चला कि उत्तर प्रदेश के 25 बच्चे पिछले कई महीनों से मुंबई के बालगृहों में रह रहे हैं। इन बच्चों को उत्तर प्रदेश में उनके परिजनों से मिलवाने के लिए माय होम इंडिया के उत्तर प्रदेश प्रमुख संतलाल यादव से सम्पर्क किया। संतलाल यादव जी ने लखनऊ में माय होम इंडिया का कार्य देख रहे श्री राम प्रताप सिंह जी से सम्पर्क किया। बच्चों के परिजनों के बारे में जब सटीक जानकारी हो गयी तो पुलिस प्रशासन से भी इसकी तस्दीक करायी गयी और बताया गया कि हमारी संस्था माय होम इंडिया मुंबई के विभिन्न बालगृहों में रह रहे 25 बच्चों को लखनऊ लाकर उन्हें उनके घर तक पहुंचाना चाहती है। पुलिस प्रशासन की अनुमति मिलने के बाद मुंबई के बालगृहों और प्रशासन से अनुमति लेकर 25 बच्चों को 14 मई 2018 को ट्रेन पर बैठाकर लाया गया। इन बच्चों के साथ माय होम इंडिया के कार्यकर्ता और मुंबई पुलिस के जवान भी लखनऊ आये। बच्चों को लेकर यह ट्रेन 16 मई को लखनऊ पहुंची, जहां से सभी बच्चों को दुबग्गा स्थित बालगृह ले जाया गया और वहां से इन बच्चों के घर तक ले जाया गया। लखनऊ में माय होम इंडिया के यूपी यूनिट के कार्यकर्ता इस कार्य में मदद कर रहे थे। अपने बिछड़े बच्चों को पाकर 25 परिवारों को जिस तरह की खुशी मिली उसे शब्दों में नहीं बताया जा सकता है।
श्री सुनील देवधर ने सामाजिक कार्यो में ही नहीं भाजपा के पूर्वोत्तर में विस्तार में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। पूर्वोत्तर में मार्क्सवादी क्म्युनिष्ट पार्टी का गढ़ समझे जाने वाले त्रिपुरा में श्री देवधर ने माय होम इंडिया के माध्यम से वहां के युवाओं को शेष भारत के राज्यों में सामंजस्य बैठाने के लिए जिस प्रकार प्रयास किया, उससे भाजपा का त्रिपुरा में मजबूत आधार बना था। युवाओं ने भाजपा पर विश्वास जताया और उन्होंने महसूस किया कि भाजपा की सोच अन्य राजनीतिक दलों से बेहतर है। त्रिपुरा की माणिक सरकार की यथास्थितिवादी सरकार से इसीलिए युवाओं का मोह भंग हुआ था और भाजपा ने पहली बार त्रिपुरा जैसे राज्य में सरकार बनाने में सफलता प्राप्त की जहां एक भी विधायक विधान भवन तक नहीं पहुंच पाता था। श्री सुनील देवधर ने त्रिपुरा में ही नहीं पूर्वोत्तर के राज्यों में सधन दौरा किया। यातायात की सुविधा को दर किनार करते हुए वे पैदल ही गांव-गांव पहुंचे और उनकी समस्याओं को समझकर उन्हें दूर करने का प्रयास किया। राज्य की वास्तविकता को समझकर उन्होंने हमेशा व्यावहारिक बात कहीं।पिछले दिनों श्री देवधर का एक बयान लोगों में चर्चा का विषय भी बना था। उन्होंने कहा कि अगर किसी राज्य में बहुसंख्यक लोग नहीं चाहते तो वहां की सरकार उस पर बैन लगाएगी। यह बात श्री देवधर ने गोमांस को लेकर कही थी। नार्थ-ईस्ट राज्यों के बारे में उन्होंने अपना व्यावहारिक अनुभव बताते हुए कहा था कि यहां पर ज्यादातर मुस्लिम – ईसाई है। कुछ हिन्दू भी ऐसे हैं जो बीफ (गोमांस) खाते हैं, इसलिए वहां की सरकार उसपर प्रति बंध नहीं लगाएगी। श्री देवधर ने यह बात बिना किसी संकोच के कह दी कि कुछ हिन्दू भी ऐसे हैं जो मांस खाते हैं। इस प्रकार की बातों का राज्य की जनता पर प्रभाव पड़ा और भाजपा ने त्रिपुरा में ऐतिहासिक जीत दर्ज कर गठबंधन की सरकार बनाई है। श्री सुनील देवधर त्रिपुरा में चुनाव प्रभारो बनाये गये थे। श्री सुनील देवधर ने त्रिपुरा के मुख्यमंत्री विप्लव कुमार देव से अनुरोध किया था कि मंत्रियों के सभी क्वार्टर में रहने से पहले सैप्टिक टैंकों की सफाई करा ले क्योंकि हो सकता है कि वहां नरकंकाल छिपाये गये हो। माकपा को लेकर इस तरह की सावधानी बरतने वाले सुनील देवधर पूर्वोत्तर राज्यों में जनता की निरंतर सेवा कर रहे हैं। माय होम इंडिया को अब देश भर में लोग पहचानते हैं और उसके साथ प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वच्छ भारत अभियान वृक्षारोपण, उज्जवला योजना प्रधानमंत्री आवास योजना जैसे कई कार्यक्रमों में भी मदद कर रहे हैं।