भारत-चीन सीमा पर भूस्खलन की सूचना, जारी किया अलर्ट

देहरादून : उत्तराखंड में भारत-चीन सीमा पर भूस्खलन की सूचना ने शासन में हड़कंप मचा हुआ है। आनन-फानन सभी जिलाधिकारियों को अलर्ट जारी कर दिया गया। उत्तरकाशी और टिहरी के डीएम को खास निर्देश दिए गए हैं। हेली कंपनियों से भी संपर्क साधा गया है।

अपुष्ट सूत्रों के अनुसार शासन को गंगोत्री-गोमुख के मध्य की सेटेलाइट इमेज मिली है, जिसमें जमीन दरकी नजर आ रही है। देखा जा रहा कि कहीं इससे गंगा का प्रवाह तो प्रभावित नहीं होगा। वहीं, सचिव आपदा प्रबंधन अमित नेगी के मुताबिक सीमा पर भूस्खलन की सूचना तो मिली है, लेकिन अभी इसकी पुष्टि कराई जानी है।

दूसरी तरफ, उत्तरकाशी के जिलाधिकारी ने गंगोत्री- गोमुख ट्रेक और नेलांग घाटी के लिए दो टीमें गठित की हैं। सोमवार शाम शासन को सूचना मिली कि भारत-चीन सीमा पर उत्तराखंड में भूस्खलन हुआ है। ये बात भी आई कि इसके चलते गंगा में झील बनने की आशंका है।

हालांकि, यह सूचना किस स्रोत से पहुंची, इस बारे में अधिकारी कुछ भी कहने से बच रहे हैं। अलबत्ता, देर शाम को सभी जिलाधिकारियों को अलर्ट कर दिया गया। खासकर सीमावर्ती जिलों और इनमें भी उत्तरकाशी और टिहरी के डीएम को सूचना का गंभीरता से परीक्षण कराने के निर्देश जारी किए गए।

अपुष्ट सूत्रों की मानें तो चीन सीमा से लगे उत्तराखंड के क्षेत्र में भूस्खलन की एक इमेज शासन तक पहुंची। माना जा रहा कि यह गंगोत्री-गोमुख ट्रेक के किसी हिस्से की हो सकती है। ऐसे में मलबे के कारण वहां झील बनने से गंगा का प्रवाह प्रभावित हो सकता है। यही वजह भी है कि शासन द्वारा उत्तरकाशी जिले के डीएम को विशेष रूप से मामले को दिखवाने को कहा गया है।

सचिव आपदा प्रबंधन अमित नेगी जिलाधिकारियों के अलावा नेहरू पर्वतारोहण संस्थान (निम), एसडीआरएफ, सिंचाई विभाग, पुलिस सहित अन्य विभागों को भी अलर्ट किया गया है।

वहीं, उत्तरकाशी के जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने बताया की सूचना की जांच के लिए सभी टीमों को लगाया गया है। वन विभाग, आपदा प्रबंधन व पुलिस की दो टीमें गठित की गई हैं।  जो गोमुख ट्रेक और नेलांग घाटी के लिए रवाना हो गई। मंगलवार सुबह एसडीआरएफ के 5 जवान, पुलिस के 2 जवान,  वन विभाग के 5 कर्मी  गोमुख के लिए रवाना हुए हैं। नेलांग क्षेत्र की सूचना आइटीबीपी से ली जा रही है। दोनों ही क्षेत्र चीन सीमा से लगे हैं। सभी पहलुओं से सूचना का परीक्षण कराया जा रहा है।

वहीं, उत्तरकाशी में तैनात आइटीबीपी की 35वीं वाहिनी के सेनानी धर्मपाल सिंह रावत ने सीमावर्ती क्षेत्र में भूस्खलन की किसी सूचना से इन्कार किया। साथ ही कहा कि सभी चौकियों से रिपोर्ट ली जा रही है।

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