जर्मनी के सहयोग से अविरल होगी गंगा, रफ्तार पकड़ेगा विकास
देहरादून : मुख्य सचिव उत्पल सिंह ने जर्मनी के प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात की। इस दौरान उनके बीच तकनीकि और वित्तीय सहयोग पर विस्तार से चर्चा हुर्इ। मुलाकात के दौरान जर्मन संस्था जीआइजेड ने उत्तराखंड में गंगा नदी की स्वच्छता, चिकित्सा, कौशल विकास में तकनीकी और आर्थिक सहयोग प्रदान करने का भरोसा दिया।
जर्मनी के प्रतिनिधिमंडल ने डिप्टी मिशन चीफ डॉ. जेस्पर वेक के नेतृत्व में मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह से तकनीकी और वित्तीय सहयोग के विभिन्न पहलुओं पर विस्तार से विचार-विमर्श किया। मिशन चीफ के साथ फेडरल मिनिस्ट्री के साउथ एशिया डिवीजन हेड डॉ. रोलफ्राम क्लेन, जर्मन डेवलपमेंट बैंक के सीनियर पॉलिसी ऑफिसर, जीआईजेड(जर्मन एजेंसी फॉर इंटरनेशनल टेक्निकल को-ऑपरेशन) के कंट्री डायरेक्टर डॉ. यूरिक रिवेरे, सिल्के पालविज समेत अन्य अधिकारी मौजूद थे।
जीआइजेड उत्तराखंड में गंगा नदी की स्वच्छता, चिकित्सा, कौशल विकास में तकनीकी और आर्थिक सहयोग प्रदान करेगा। गंगा नदी की स्वच्छता के लिए जर्मनी के मिशन चीफ के समक्ष 920 करोड़ रूपये के प्रस्ताव पर चर्चा हुई। जीआइजेड को बताया गया कि हरिद्वार, ऋषिकेश, तपोवन, मसूरी, देहरादून में सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट नेटवर्किंग का कार्य किया जायेगा। इन शहरों में 265.47 एमएलडी सीवेज निकलता है। इनके नेटवर्किंग 574.26 किमी में की जानी है।
जर्मन मिशन ने भरोसा दिलाया कि राज्य सरकार द्वारा बनाये गये डीपीआर का मूल्यांकन जर्मन तकनीकी टीम द्वारा किया जा रहा है। जीआइजेड गंगा नदी की स्वच्छता के लिए 920 करोड़ रूपये दिये जाने पर जल्द निर्णय लेगी।