मैदान छोड़ भाग गये कांग्रेस के सेनापति :शहनवाज हुसैन
देहरादून, । भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता शहनवाज हुसैन ने देहरादून में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के साथ ही महागठबंधन पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि अपनी हार सामने देख कांग्रेस के प्रवक्ता टीवी चैनलों पर बहस के दौरान गिलास फेंक रहे हैं तो कांग्रेस अध्यक्ष अमेठी छोड़ वायनाड चले गए हैं। जब सेनापति ही मैदान छोड़कर भाग रहा है तो उसके उम्मीदवारों की स्थिति क्या होगी। पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा कि राहुल ने वह सीट तलाशी, जहां देश का बहुसंख्यक, अल्पसंख्यक है। उन्हें जवाब देना चाहिए कि क्या उनका बहुसंख्यक समाज से भरोसा उठ गया है। उन्होंने दावा किया कि देश में मोदी के नाम की सुनामी है। भाजपा 400 से ज्यादा सीटें जीतेगी। उन्होंने कहा कि तीन तलाक के मसले पर मुस्लिम महिलाओं को बड़ी आजादी दी गई है। इसे लेकर कांग्रेस जितना भी व्यवधान पैदा करे, मगर हम पीछे हटने वाले नहीं हैं।
भाजपा प्रवक्ता ने राहुल गांधी द्वारा वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी को लेकर की गई टिप्पणी की निंदा की। उन्होंने कहा कि राहुल हमारी कुछ भी आलोचना करें, मगर हम अपने बुजुर्गों का अपमान किसी भी दशा में सहन नहीं कर सकते। पार्टी के जितने भी बुजुर्ग नेता हैं, उनका आशीर्वाद हमारे साथ है। टिकट देना न देना सम्मान व अपमान की परिभाषा नहीं। उनकी सीट भी गठबंधन के तहत सहयोगियों को दी गई है।
अफस्पा का नाम लिए बगैर कहा कि कांग्रेस साजिश कर रही है कि फौज के लोग जब कार्रवाई को जाएं तो उससे स्पेशल पावर छीन ली जाए। कांग्रेस का यह सपना पूरा नहीं होगा। भाजपा ने हमेशा फौजियों का सम्मान किया। जहां जरूरी है, वहां अफस्पा को रखा और रखेंगे। उन्होंने कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतिश कुमार उनके बड़े भाई हैं और उनकी किसी बात पर वह टिप्पणी नहीं करेंगे। कहा कि आज मैं जो कुछ भी हूं, पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की वजह से हूं।
शहनवाज ने कहा कि व्यक्ति से बड़ा दल और दल से बड़ा देश होता है। हम किसी को देशद्रोही नहीं कह रहे, मगर देश के टुकड़े करने का नारा लगाने वालों को जनता देशभक्त नहीं मानती। उन्होंने कहा कि मुस्लिम लीग के लिए वायरस छोटा शब्द है। हम सबकुछ भूल सकते हैं कि मगर ये नहीं कि मुस्लिम लीग देश के बंटवारे की जिम्मेदार है। कांग्रेस की सहयोगी दल मुस्लिम लीग बंटवारे के दंश की याद दिलाती है, जो दुख देता है। भाजपा नेता ने कहा कि विपक्षी दलों की दिक्कत यह है कि अपने कृत्य को नहीं, बल्कि ईवीएम को हार का कारण बताते हैं। मप्र, कर्नाटक, छत्तीसगढ़, राजस्थान में ईवीएम ठीक थी। उन्होंने यह भी कहा कि मायावती हारने वाली हैं, तब वह बौखलाहट ईवीएम पर निशाना साध रही हैं।