केंद्र ने राज्यों को लिखा पत्र, निजी अस्पतालों की मनमानी पर लगाएं लगाम

नई दिल्ली : केंद्र सरकार ने सभी राज्यों को पत्र लिखकर निजी अस्पतालों की मनमानी पर लगाम लगाने के लिए कहा है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने अपने इस पत्र में राज्यों से क्लीनिकल इस्टेब्लिश्मेंट (रजिस्ट्रेशन एंड रेगुलेशन) एक्ट, 2010 को अपनाने और लागू करने का अनुरोध किया है। एक्ट का मकसद निजी स्वास्थ्य क्षेत्र के कदाचार पर रोक लगाना है।

स्वास्थ्य मंत्री का यह पत्र हाल ही में गुरुग्राम के फोर्टिस और दिल्ली के मैक्स अस्पताल में क्रमश: अधिक फीस वसूलने और लापरवाही की घटनाओं के बाद आया है। पत्र में स्वास्थ्य मंत्री ने कहा है कि एक्ट के प्रभावी कार्यान्वयन से उपचार से जुड़े संस्थानों के अनैतिक कार्यो में लिप्त होने पर रोक लगेगी और वे मरीजों के प्रति अपनी जिम्मेदारियों और कर्तव्यों का निर्वहन सुनिश्चित करेंगे। इस एक्ट में उपचार से जुड़े संस्थानों द्वारा प्रदान की जाने वाली सुविधाओं के न्यूनतम मानकों का भी उल्लेख है। नड्डा ने राज्यों से यह भी कहा है कि अगर उन्हें यह एक्ट अपने अनुकूल नहीं लगता है तो वे इस विषय पर अपना कानून भी बना सकते हैं।

बता दें कि अभी तक अरुणाचल प्रदेश, राजस्थान, झारखंड, असम और सभी केंद्र शासित प्रदेशों (दिल्ली को छोड़कर) ने इस एक्ट को अपनाकर लागू कर दिया है। जबकि सिक्किम, बिहार, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड जैसे राज्यों ने इसे अपना तो लिया है, लेकिन लागू नहीं किया है।

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