सीमा पर खामोशी तूफान का सूचक, अलर्ट पर बीएसएफ

जम्मू । सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के हाथों करारा आघात लगने के बाद पाकिस्तान फिलहाल शांत है, लेकिन पुराने रिकॉर्ड पर गौर करें तो पड़ोसी देश की नीयत का भरोसा नहीं किया जा सकता है। यह सीमांतवासी और सीमा सुरक्षा बल भी जानते हैं। ऐसे में इस शांति को तूफान से पहले की खामोशी मानकर बीएसएफ पूरी तरह तैयार है।

बदला लेने की फिराक में पाकिस्तान
सीमा सुरक्षा बल ने अपनी सभी चौकियों को अलर्ट पर रखा है और दुश्मन की खामोशी को उसकी किसी साजिश का हिस्सा माना जा रहा है। पहले भी कई बार मुंह की खाने के बाद पाकिस्तान ने कुछ दिन खामोश रहकर फिर आग उगली है। सूत्रों के अनुसार जानमाल के भारी नुकसान से पाकिस्तान बौखलाया हुआ है। वह बदला लेने के लिए उचित समय का इंतजार कर रहा है।

सीमा पार से अचानक हो सकती है गोलीबारी 
पाकिस्तानी रेंजर्स की मौत से पाकिस्तानी सेना में भी रोष है। बताया जा रहा है कि पाकिस्तान के सैन्य अधिकारियों ने सियालकोट क्षेत्र में एक बैठक भी की है। इसमें सीमा सुरक्षा बल की कार्रवाई को लेकर कोई विशेष योजना बनी है। खुफिया एजेंसियों ने ऐसे कुछ संदेश पकड़े हैं, जिनमें पाकिस्तान ने अपने सीमांत क्षेत्र के लोगों को कुछ दिनों तक सतर्क रहने की हिदायत दी है। ऐसे में सीमा पार से अचानक गोलीबारी हो सकती है। इसलिए बीएसएफ पूरी तरह सतर्क है। पाकिस्तान पर भरोसा नहीं किया जा सकता है।

गोलीबारी के बाद पहले भी कुछ दिन शांत रहा पाकिस्तान
आजादी के बाद पाकिस्तान ऐसा कितनी बार कर चुका है। बीएसएफ के अलावा सीमा पर रहने वाले लोग भी सतर्क हैं। सीमांत गांव अब्दुल्लियां के अवतार सिंह का कहना है कि पहले भी पाकिस्तान गोलीबारी के बाद शांत हो गया था। सीमा को शांत मानकर उनके पिता भी अन्य लोगों के साथ खेतों में चले गए। तभी पाकिस्तान ने गोलाबारी शुरू कर दी, जिसमें उनकी जान चली गई।

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