रेप पीड़िताओं की मदद करने वाली कार्यकर्ता बेला भाटिया को 24 घंटे मे घर छोड़ने की धमकी

बस्तर। छत्तीसगढ़ के बस्तर में आदिवासियों और रेप पीड़ित महिलाओं के लिए काम करने वाली सामाजिक कार्यकर्ता बेला भाटिया को 24 घंटे के भीतर बस्तर छोड़ने की धमकी दी गई है, हालांकि बेला ने किसी भी कीमत पर बस्तर छोड़ने से इंकार कर दिया है। सोमवार को करीब 30-32 लोगों के एक समूह ने बेला के घर को घेर लिया और 24 घंटे के अंदर घर ना छोड़ने पर उन्हें इसका अंजाम भुगतने और उनके घर को जलाने की धमकी दी गई। बेला जगदलपुर से करीब 15 किलोमीटर दूर परपा गांव में रहती हैं।

बेला बस्तर इलाके में पुलिस-प्रशासन के अत्याचार के खिलाफ आवाज उठाती रही हैं। खासतौर से सुरक्षाबलों के रेप का शिकार होने वाली महिलाओं को वो मदद करती हैं। बीजापुर के दो गांवों में अक्टूबर, 2015 और जनवरी 2016 के बीच सुरक्षाबलों के जवानों ने जिन महिलाओं के रेप किया, हाल ही में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग की टीम के साथ जाकर उन्होंने उन पीड़ित महिलाओं के बयान दर्ज कराए था। जिसके बाद आयोग ने 16 महिलाओं के साथ रेप की बात दर्ज की थी। बेला ने कई ऐसे मामलों का खुलासा किया है, जिसमें सुरक्षा-बलों के आदिवासी औरतों और बच्चियों के साथ रेप करने का मामला सामने आया।

धमकियों पर बेला ने कहा ”मैं किसी धमकी से नहीं डरती हूं, मैं बस्तर में ही रहूंगी और बस्तर छोड़कर कहीं नहीं जाऊंगी।” पूरे मामले पर पुलिस का कहना है कि धमकी मिलने के बाद बेला को सुरक्षा मुहैया कराई गई है। सहायक पुलिस महानिरीक्षक अभिषेक पाठक ने बताया कि कुछ लोग बेला भाटिया पर नक्सल गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगा रहे थे और उनके घर के बाहर प्रदर्शन कर रहे थे। जिनको पुलिस ने मौके पर पहुंचकर खदेड़ दिया। उन्होंने बताया कि बेला भाटिया की सुरक्षा में उपनिरीक्षक कृपाल सिंह गौतम के नेतृत्व में 4 महिला पुलिस कर्मचारियों सहित 15 पुलिस कर्मचारियों का बल तैनात किया गया है।
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Source: hindi.oneindia.com

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