पुणे में हुआ यह एक्सीडेंट देख दिल दहल जाएगा, देखिए

पुणे। महाराष्ट्र के पुणे में सड़क पार कर रहे दो परिवारों को एक तेज रफ्तार कार ने बुरी तरह रौंद दिया। इस घटना में 3 साल की बच्ची की घटनास्थल पर ही दर्दनाक मौत हो गई और 4 लोग बुरी तरह घायल हो गए। यह दोनों परिवार डीमार्ट मॉल से सामान खरीदकर वापस आ रहे थे। रिक्शा से सामान उतारने के बाद दोनों परिवार सड़क पार कर रहे थे और गाड़ियों की रफ्तार काफी तेज होने की वजह से सड़क के बीच बने डिवाडर पर खड़े होकर सड़क पार करने का इंतजार कर रहे थे। अचानक से तेज रफ्तार से आ रही आई-10 कार ने डिवाइडर पर खड़े लोगों पर गाड़ी चढ़ा दी। गाड़ी की टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि बच्ची की मौत घटनास्थल पर ही हो गई और 4 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। तत्काल उन्हें नजदीक के अस्पताल मेडीपाइंट में भर्ती कराया जहां बच्ची की मां की भी मौत हो गई।

Read Also: दोस्त ने कहा- योगी नहीं शिव ‘राज’ है अच्छा, चाकू से गोदा

इस रोड एक्सीडेंट में इशिता विश्वकर्मा (उम्र 3) की मौत हो गई और इशिता की मां पूजा विश्वकर्मा (उम्र 24), साजिद शेख (उम्र 4), साजिद की मां निशा शेख (उम्र 25) और साजिद का मामा शहजाद शेख (उम्र 27) गंभीर रूप से घायल हो गए। इशिता की मां पूजा की मौत हॉस्पिटल में हो गई।

प्रत्यक्षदर्शी द्वारा बताया गया कि कार एक महिला चला रही थी। कार की रफ्तार इतनी तेज थी कि महिला से गाड़ी कंट्रोल नहीं हुई और कार डिवाइडर पर रुके लोगों पर चढ़ा दी। प्रत्यक्षदर्शी ने बताया कि महिला का कहना था कि उसे चक्कर आ गया था जिसकी वजह से कार आपे से बाहर हो गई, पर वहां मौजूद लोगों को कहना था कि महिला ड्राइविंग करते वक्त मोबाइल पर बात कर रही थी और तेज रफ्तार से गाड़ी चला रहा थी जिसकी वजह से यह एक्सीडेंट हुआ। साथ ही घटनास्थल पर मौजूद लोगों ने बताया की महिला किसी बड़े बिल्डर की पत्नी है। महिला भी इस दुर्घटना में घायल हुई है और हॉस्पिटल में भर्ती है।

स्थानीय लोगों के अनुसार इस सड़क पर आये दिन एक्सीडेंट होते रहते हैं, पुणे महानगरपालिका प्रशासन को 5 साल से रफ्तार नियंत्रण का बोर्ड लगाने और स्पीड ब्रेकर बनाने के लिए आवेदन दे चुके हैं पर प्रशासन लोगों की मांग की अनदेखी करती आयी है जिसकी वजह से बाणेर रोड एक्सीडेंट का अड्डा बन चुका है। बाणेर रोड स्थित दुकानों के मालिकों का भी कहना है कि बहुत बार तेज रफ्तार से आनेवाली गाड़ियां हमारे दुकानों के अंदर भी घुस चुकी हैं और दीवारों से भी टकरा चुकी हैं। उसके बाद भी प्रशासन चुप्पी साधे हुए है। स्थानीय लोगों ने यह भी आरोप लगाया कि महानगरपालिका का कहना है कि यह रोड वीआईपी सड़क है इसलिए यहां स्पीड ब्रेकर नहीं बनाया जा सकता। लोगों का कहना है कि ऐसे वीआईपी सड़क का क्या फायदा जहां मासूमों की जान जा रही है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *