अवैध रूप से कब्जा कर रहे लोगों को हटाया जायेगा: सीएस

देहरादून,। कालागढ़ में अवैध रूप से कब्जा कर रहे लोगों को हटाया जायेगा। 213 भवनों को ध्वस्त कर कार्बेट नेशनल पार्क की जमीन को वापस की जायेगी। मुख्य सचिव शत्रुघ्न सिंह सोमवार को उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव दीपक सिंहल से राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) के आदेश के अनुपालन में वार्ता करने लखनऊ गये थे। मुख्य सचिव ने ऐसे अवैध कब्जाधारियों के पुनर्वास के लिए उ0प्र0 से 48 करोड़ रूपये की मांग की, जिनके पास कोई भी अचल सम्पति नहीं है। उ0प्र0 के मुख्य सचिव दीपक सिंहल ने कहा कि अवैध अध्यासियों के पुनर्वास के लिए भारत सरकार द्वारा महाराष्ट्र को जिस तरह से दिया गया था, उसी तरह का अनुरोध वन एवं पर्यावरण मंत्रालय से किया जायेगा।
गौरतलब है कि रामगंगा बांध परियोजना निर्माण के लिए 1958 से 1965 तक चार चरणों में नेशनल कार्बेट पार्क की 9518.6 हेक्टेयर जमीन सिंचाई विभाग को शर्त के साथ दी गई थी। शर्त के अनुसार बांध निर्माण से बची हुई भूमि वन विभाग को वापस की जानी थी। सिंचाई विभाग उ0प्र0 द्वारा शर्त का पालन नही किया गया। इसी बीच इस भूमि पर विभिन्न व्यक्तियों, संस्थाओं, द्वारा अतिक्रमण कर लिया गया। वाइल्ड लाइफ प्रोटेक्शन सोसाइटी आॅफ इंडिया द्वारा उच्च न्यायालय में जनहित याचिका में अतिक्रमण से मुक्त कराने का निर्णय हुआ। इससे 344.49 हेक्टेयर वन भूमि वन विभाग को वापस हो गई। इसके बावजुद भी 31.78 हेक्टेयर वन भूमि पर कब्जा बरकरार है। प्रकरण सेंट्रल इम्पावर्ड कमेटी में प्रस्तुत किया गया। सेंट्रल इम्पावर्ड कमेटी ने उच्चतम न्यायालय में अपनी संस्तुति दी। इस समय यह प्रकरण एनजीटी में है। उच्चतम न्यायालय के आदेश के अनुपालन के लिए एनजीटी ने उ0प्र0 और उत्तराखण्ड के मुख्य सचिवों को निर्देश दिये है।

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