उत्तराखंड में अब दैवीय आपदा में सात दिन में मिलेगा मुआवजा

देहरादून । शासन ने दैवीय आपदा में प्रभावितों को दी जाने वाली आर्थिक सहायता को समयबद्ध कर दिया है। अब दैवीय आपदा घटित होने के सात दिन के अंदर प्रभावितों को आर्थिक सहायता मुहैय्या करा दी जाएगी। शासन ने इस संबंध में उत्तराखंड सेवा का अधिकार अधिनियम 2011 में संशोधन कर दिया है।
दैवीय आपदा में दी जाने वाली आर्थिक सहायता सेवा का अधिकार अधिनियम में अधिसूचित तो है, लेकिन इसे समयबद्ध नहीं किया गया था। समयबद्ध न होने से आर्थिक सहायता में देरी के कतिपय मामलों में सेवा के अधिकार अधिनियम के तहत कार्रवाई नहीं हो पा रही थी। अब शासन स्तर पर मंथन के बाद इसे टाइम बाउंड करने का निर्णय लिया गया है। अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी के निर्देश पर कार्मिक एवं सतर्कता विभाग ने अधिसूचना में संशोधन के आदेश जारी कर दिए हैं।
दैवीय आपदा की घटना होने पर तहसीलदार प्रभावितों को 10 हजार की आर्थिक सहायता दे सकते हैं। इसके लिए दो दिन की अवधि तय की है। ऐसी घटना पर उप जिलाधिकारी (एसडीएम) प्रभावित को 50 हजार रुपये की आर्थिक सहायता दे सकते हैं, उनके स्तर पर तीन दिन में आवंटन हो जाना चाहिए। प्रभावित को 50 हजार रुपये से अधिक की आर्थिक सहायता देने को अधिकृत जिलाधिकारी को घटना के सात दिन में धनराशि बांटनी होगी।
दैवीय आपदा की घटना की स्थिति में किसी प्रभावित को समय पर आर्थिक सहायता प्राप्त नहीं होती है तो ऐसे मामलों में वह दो दिन के बाद एसडीएम के समक्ष प्रथम अपील कर सकता है। उसके लिए जिलाधिकारी के पास दूसरी अपील करने का भी प्रावधान किया गया है।

इसी तरह एसडीएम के खिलाफ व अपर जिलाधिकारी/ मुख्य विकास अधिकारी के पास प्रथम अपील और जिलाधिकारी के पास दूसरी अपील कर सकता है। जिलाधिकारी के विरुद्ध वह मंडलायुक्त प्रथम और मुख्य राजस्व आयुक्त को द्वितीय अपील कर सकता है।

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