ऋषिकेश के डॉ. आरके गुप्ता समेत 15 को सजा
देहरादून : मिर्गी का शर्तिया इलाज करने के नाम पर मरीजों को नशीली दवाएं देने के दोषी डॉ. आरके गुप्ता को मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी विवेक द्विवेदी की अदालत ने पांच साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। वहीं छापेमारी के बाद डॉक्टर को पुलिस अभिरक्षा से छुड़ा ले जाने और ऋषिकेश कोतवाली में हंगामा करने के मामले में नगर पालिका के निवर्तमान अध्यक्ष दीप शर्मा समेत 14 अन्य आरोपियों को एक-एक वर्ष सश्रम कैद और जुर्माने की सजा सुनाई गई है। इनमें पूर्व दायित्वधारी, वर्तमान व पूर्व सभासद समेत व्यापारी नेता और डॉक्टर के अस्पताल के कर्मचारी शामिल हैं।
सहायक अभियोजन अधिकारी यशदीप श्रीवास्तव ने अदालत को बताया कि डॉ. आरके गुप्ता का ऋषिकेश में नीरज क्लीनिक प्राईवेट लिमिटेड के नाम से अस्पताल है। जहां मिर्गी के रोगियों का शर्तिया इलाज का दावा किया जाता है। वर्ष 2004 में एक एनआरआइ ने शासन को शिकायत भेजी कि डॉ. गुप्ता आयुर्वेदिक दवाओं के नाम पर मरीजों को नशा देता हैं।
एनआरआइ ने विदेश में कराई गई दवाओं की जांच रिपोर्ट भी भेजी थी। इस पर शासन ने जांच के आदेश दिए। राज्य औषधि नियंत्रक की अगुआई में अस्पताल में छापे के दौरान प्रतिबंधित दवाएं मिली थीं, जिसके बाद डॉ. आरके गुप्ता को हिरासत में ले लिया गया। मगर, छापे की भनक लगने के बाद मौके पर जुटी भीड़ ने अस्पताल कर्मियों की मदद से डॉक्टर को छुड़ा लिया।
इधर, टीम मामले में मुकदमा दर्ज कराने ऋषिकेश कोतवाली पहुंची तो तत्कालीन नगर पालिका अध्यक्ष दीप शर्मा, पूर्व दायित्वधारी अनीता वशिष्ठ समेत कई सभासद और व्यापारी नेताओं की अगुआई में डेढ़-दो सौ लोगों की भीड़ कोतवाली पहुंच गई और हंगामा काटा कर दिया। मामले में डॉ. आरके गुप्ता समेत 15 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया था।
सीजेएम कोर्ट में सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से कुल 15 गवाह पेश किए गए। अदालत ने गवाहों और सबूतों के आधार पर डॉ. आरके गुप्ता को पांच वर्ष सश्रम कैद और 21 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। वहीं अन्य 14 आरोपियों को एक-एक वर्ष सश्रम कैद की सजा सुनाई है। सजा सुनाए जाने के बाद आरके गुप्ता को सुद्धोवाला जिला कारागार भेज दिया गया, जबकि अन्य आरोपियों को जमानत दे दी गई।
दून में गिरफ्तार हुआ था डॉक्टर
भीड़ द्वारा छुड़ाए जाने के बाद फरार डॉ. आरके गुप्ता को 11 दिन बाद देहरादून के क्लेमेनटाउन इलाके से गिरफ्तार कर लिया गया था। इसके बाद वह करीब 27 माह तक जेल में रहा, बाद उसे जमानत मिल गई थी।