कांग्रेसियों ने प्रकाश पांडे की पत्नी की मदद की, दिए साढ़े सात लाख रुपये

हल्द्वानी। ट्रांसपोर्टर प्रकाश पांडे की जहर खाने के मौत के बाद आर्थिक मदद के लिए उसकी पत्नी कमला पांडे बुद्ध पार्क में धरने पर बैठ गई थी। मेयर डॉ जोगेंद्र रौतेला व जिलाधिकारी दीपेंद्र चौधरी द्वारा दिए गए आश्वासन को पूरा करने की मांग कर रही थी, लेकिन राज्य सरकार ने आत्महत्या के मामले में किसी तरह का मुआवजा देने से इंकार कर दिया।

इससे हल्द्वानी की सियासत गरमा गई। नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर इंदिरा हृदयेश समेत कांग्रेस कार्यकर्ता महिला के समर्थन में धरने पर बैठ गए। जब सरकार से कोई उम्मीद नहीं बची तो कांग्रेसियों ने खुद ही मदद करने का फैसला कर लिया।

मंगलवार को कांग्रेसियों ने बुद्ध पार्क में धरने पर बैठी महिला को साढ़े सात लाख रुपये का कैश भेंट किया। इसके लिए कई लोगों की मदद ली गई। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार का असली चेहरा उजागर हो गया। ढाई लाख रुपये की और मदद की जाएगी। महिला को निजी सेक्टर में नौकरी दिलाई जाएगी। कमला ने कहा कि सरकार ने धोखा दिया है।

ट्रांसपोर्टर प्रकाश ने देहरादून भाजपा कार्यालय में खाया था जहर 

पिछले महीने ट्रांसपोर्टर प्रकाश पांडे ने देहरादून भाजपा कार्यालय में जहर खा लिया था। उस समय वहां पर कृषि मंत्री सुबोध उनियाल के जनता दरबार चल रहा था। पांडे ने जहर खाने के बाद वीडियो भी बनाया। उसमें आरोप लगाया था कि नोटबंदी वह जीएसटी की वजह से परेशान होकर यह कदम उठाया है। प्रकाश की मौत 9 जनवरी को देहरादून के एक निजी अस्पताल में हो गई थी। परिजनों ने बिना आर्थिक मदद के परिजनों ने शव उठाने से इंकार कर दिया। इसके बाद हल्द्वानी में जिलाधिकारी दीपेंद्र चौधरी नए परिजनों को 10 लाख रुपये की मदद दिलवाने का आश्वासन दिया।

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