खून के बदले खून, किसी भी गरीव से रक्त का कोई शुल्क न ले सरकार : जितेन्द्र सनातनी
देहरादून/अल्मोड़ा। अधिकार है हमारा जीना यह अधिकार हमे संविधान ने दिया है सरकार हमारी इस मांग को माने ओर हर गरीव को जीने का अधिकार दे कुछ खून की बूदों की खातिर किसी की जान न जाए,फ्री रक्त की मांग हमारी निरंतर जारी रहेगी संविधान भी जीवन जीने का अधिकार हमे देता है अगर कुछ पैसों के लिए किसी की जान चली जाए तो कैसा अधिकार हम अपनी आखिरी सांस तक इस मांग के लिए लड़ते रहेंगे, सरकार हर तरफ सब्सडी दे रही है यंहा तक कि अनाज भी मात्र 2 रुपया किलो गरीवों को दे रही है तो क्या रक्त का चार्ज फ्री नही कर सकती, हर तरीके से यह हमारी जायज मांग है हमारा एनजीओ इस मांग के लिए जरूरत पड़ी तो आंदोलन करेगा, मेरा अनुरोध है सभी सामाजिक संगठन व रक्तसेवकों से की वो इस मांग के साथ आएं और निचले तबके को जरूरत पड़ने पर रक्त फ्री करवाने में हमारा सहयोग करें, न जाने कितनी जाने जाती हैं हर रोज हर महीने हर साल वो भी बस रक्त का समय पर नही मिलने पर, क्या कुछ पैसे इंसान की जान से ज्यादा हो गए, क्या हमारी आत्मा मर चुकी है जो कि पहले से ही बर्बाद हुए इंसान से भी रक्त के नाम पर फीस ली जाती है, हम सबकी यह जिम्मेदारी होनी चाहिए कि कोई गरीव इस समस्या से अपनी जान न गवाए में सभी से आवाहन करना चाहता हूं कि सभी इस मांग पर साथ आएं और प्रदेश सरकार केन्द्र सरकार के सम्मुख यह मांग रखी जाए, युवा सोशल वेलफेयर सोसायटी हर तरीके से इस मुद्दे को उठाएगा अगर किसी गरीव की जिंदगी बचाने के लिए हम अपनी आखिरी सांस तक लड़ते रहेंगे, हम अपना खून ब्लड बैंक में दान करते हैं बिना किसी सवाल के बस यही सोचकर कि इससे किसी की जान बचेगी पर होता क्या है उस ब्लड के बदले किसी मजदूर गरीव से उसका पहले चार्ज लिया जाता है फिर उसको रक्त दिया जाता है, हमारी मांग बस इतनी सी है कि जो ब्लूड बैंक में फीस जाती है बस वो न ली जाए, आप रक्त के बदले रक्त जरूर लें पर फीस न लें, आप सब भी निर्णय करें कि क्या हमारी मांग गलत है, क्या किसी की जिंदगी बचाना गलत है, अगर यह सही है जायज है तो हमारा साथ दें।
जितेन्द्र सनातनी
अध्यक्ष- युवा सोशल वेलफेयर सोसायटी