विरासत हथियाने की कोशिश में भाजपा: कांग्रेस
नई दिल्ली । कांग्रेस ने पीएम मोदी के सुबह लाल किले से पार्टी पर लगाए गए आरोपों को पूरी तरह झूठा ठहराया। आजाद हिंद फौज के 75वें स्थापना दिवस पर देश में नेताजी सुभाष चंद्र बोस को लेकर फिर राजनीति शुरू हो गई है। पहले पीएम ने लाल किले से अपने संबोधन में कांग्रेस के ऊपर नेताजी और सरदार पटेल जैसी विभूतियों को भुलाने का आरोप लगाया तो अब कांग्रेस का पलटवार भी सामने आ गया है। कांग्रेस ने मोदी पर पलटवार करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री उच्च संवैधानिक पद पर आकर 24 घंटे राजनीति की बात करते हैं और आरोप लगाते हैं। क्या लाल किले से प्रधानमंत्री को ये सब करना शोभा देता है? बोस और पटेल को राजनीति में लेकर आना क्या सही है? कांग्रेस ने कहा है कि विरासत विहीन बीजेपी जल बिन मछली जैसे तड़प रही है। कांग्रेस ने कहा कि बीजेपी का आजादी के आंदोलन में कोई योगदान नहीं रहा, इसलिए वह विरासत हथिया रही है।
कांग्रेस ने पिछली सरकारों में नेताजी के सम्मान में किए गए कामों को गिनाते हुए पीएम मोदी को इतिहास पढ़ने की सलाह दी है। आजाद हिंद फौज के स्थापना दिवस के 75वें साल पर आयोजित एक कार्यक्रम में पीएम ने कांग्रेस पर निशाना साधा। मोदी ने गांधी परिवार पर निशाना साधते हुए कहा कि एक परिवार को बड़ा बनाने के लिए देश के अनेक सपूतों चाहे सरदार पटेल हो, बाबा साहब अंबेडकर हों, उन्हीं की तरह ही नेताजी के योगदान को भुलाने की कोशिश हुई। पीएम ने देश के पहले पीएम पंडित जवाहरलाल नेहरू का नाम लिए बिना तंज कसते हुए कहा कि आजादी के बाद अगर पटेल और बोस का नेतृत्व मिलता तो स्थितियां अलग होतीं।
कांग्रेस ने पीएम मोदी के हमले के बाद तुरंत पलटवार किया। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा, एक उच्च संवैधानिक पद पर आसीन होकर शुभ अवसरों पर भी पीएम का 24 घंटे राजनीति की बात करना क्या शोभा देता है। क्या आज के शुभदिन पर यह जरूरी था। कभी पटेल को राजनीति में घसीट लाते हैं, कभी नेताजी को। सिंघवी ने कहा कि विरासत विहीन बीजेपी जल बिन मछली की तरह तड़प रही है। राष्ट्रीय आंदोलन, आजादी के आंदोलन की विरासत को हथियाने में लगी हुई है।
सिंघवी ने कहा कि नेताजी का पूरा राजनीतिक जीवन कांग्रेस के साथ शुरू हुआ और वह कांग्रेस के शीर्ष पर पहुंचे। जब आजादी मिली तो नेहरू ने पहला मुख्य भाषण दिया तो उन्होंने उस वक्त श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि काश हमारे साथ नेताजी होते।