चारधामों के दर्शन करने वाले तीर्थयात्रियों का आंकड़ा दो लाख पार हुआ
देहरादून, । उत्तराखंड के प्रसिद्ध चारधामों बदरीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री में दर्शन करने वाले तीर्थयात्रियों का आंकड़ा दो लाख पार हो गया है। सबसे ज्यादा बाबा केदार के दर्शनों के लिए यात्रियों की भीड़ उमड़ रही है। देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड के मुताबिक बृहस्पतिवार को भी केदारनाथ धाम में 10750 यात्रियों ने दर्शन किए। छह अक्तूबर को केदारनाथ के कपाट शीतकाल के लिए बंद हो जाएंगे। कोरोना महामारी के कारण इस बार हाईकोर्ट के दिशानिर्देश पर 18 सितंबर को चारधाम यात्रा शुरू हुई है। 35 दिनों के भीतर केदारनाथ, बदरीनाथ, गंगोत्री, यमुनोत्री धाम में 2.12 लाख से अधिक यात्री दर्शन कर चुके हैं। जिसमें सबसे अधिक दर्शन करने वाले यात्रियों की संख्या केदारनाथ धाम में रही। देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड के मुताबिक चारधाम यात्रा को लेकर तीर्थ यात्रियों में भारी उत्साह है। बृहस्पतिवार को केदारनाथ धाम में 10750, बदरीनाथ में 1785, गंगोत्री में 1150 और यमुनोत्री धाम में 2631 यात्रियों ने दर्शन किए हैं। देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड के मीडिया प्रभारी हरीश गौड़ का कहना है कि भारी बारिश के बाद मौसम साफ होते ही चारधाम यात्रा सुचारु रूप से चल रही है। अब तक दो लाख से अधिक यात्री दर्शन कर चुके हैं। मौसम में सुधार होते ही बाबा केदार के दर्शन के लिए यात्रियों का रेला उमड़ पड़ा है। गुरुवार को शाम चार बजे तक धाम में 10750 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। देर शाम तक मंदिर परिसर में दर्शनों के लिए भक्तों की भीड़ जुटी रही। बृहस्पतिवार को सुबह 5 बजे से ही सोनप्रयाग में केदारनाथ जाने के लिए यात्रियों की भीड़ जमा होने लगी थी। सुबह 8 बजे तक यहां पैर रखने के लिए जगह नहीं बची थी। स्थिति यह रही कि जब एक्रो पुल पर गौरीकुंड के लिए यात्रियों को रवाना किया गया तो लगभग तीन सौ मीटर लंबी लाइन में हजारों की संख्या में यात्री रेले जैसे खड़े हो हुए थे। इसके बाद भी पूरे दिन सोनप्रयाग व गौरीकुंड से केदारनाथ जाने वाले यात्रियों की भीड़ जुटी रही। देवस्थानम बोर्ड के मीडिया प्रभारी डा. हरीश चंद्र गौड़ ने बताया कि सांयकालीन आरती में भी तीन हजार से अधिक श्रद्धालु शामिल हुए हैं। सोनप्रयाग से गौरीकुंड के लिए संचालित शटल (टैक्सी-मैक्सी) सेवा के लिए प्रशासन ने वाहनों की संख्या बढ़ा दी है। एसडीएम ने ऊखीमठ से 15 छोटे वाहन सोनप्रयाग भेजे हैं। इतने ही वाहन आरक्षित किए गए हैं। वहीं, गौरीकुंड में पार्किंग स्थल के आसपास प्रकाश व्यवस्था भी कर दी गई है।