मेरीकाम का सपना ओलंपिक स्वर्ण

छठी बार विश्व खिताब जीतने वाली भारत की दिग्गज मुक्केबाज एमसी मैरीकोम ने कहा कि उनका लक्ष्य अब ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीतना है। दिल्ली में हाल में आयोजित विश्व चैंपियनशिप में 36 वर्ष की मैरीकोम ने अपना छठा स्वर्ण पदक जीता और कुल सात पदक के साथ टूर्नामेंट में इतिहास की सबसे सफल मुक्केबाज बन गई। एक एथलेटिक्स कार्यक्रम के इतर मैरीकोम ने संवाददाताओं से कहा कि मैंने ओलंपिक में पदक (2012 में कांस्य पदक) जीता है लेकिन मैं स्वर्ण पदक जीतने का सपना देखती हूं। चैंपियनशिप जीतकर मैं काफी खुश हूं क्योंकि इससे मेरा मनोबल बढ़ा है। उन्होंने कहा कि मेरी नजरें तोक्यो ओलंपिक में स्वर्ण पदक पर टिकी हैं। अपने देश को स्वर्ण पदक दिलाने के लिए मैं दोगुना-तीन गुना कड़ी मेहनत करूंगी। मैरीकोम ने 48 किग्रा. वर्ग में विश्व खिताब जीता लेकिन ओलंपिक में उन्हें 51 किग्रा. वर्ग में खेलना होगा।
जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम में समारोह के दौरान मौजूद केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री मेनका गांधी ने मैरीकोम की सराहना की। उन्होंने कहा कि उसने छह विश्व खिताब जीते हैं और हमें खुशी है कि उसने यहां मौजूद बच्चों को शपथ दिलाई कि वह किसी भी खेल में ईमानदारी और खेल भावना को बरकरार रखेंगे।
मैरीकोम ने कहा कि अनुशासित ट्रेनिंग के कारण वह हमेशा मुकाबले के लिए तैयार रहती हैं। यह पूछने पर कि क्या वह ओलंपिक को ध्यान में रखते हुए कुछ बदलाव करेंगी, मणिपुर की इस मुक्केबाज ने कहा कि वह योजना तैयार करने के लिए अपने कोच और भारतीय मुक्केबाजी महासंघ से बात करेंगी। मैरीकोम कि मैं अपने कोच, बीएफआई, साइ (भारतीय खेल प्राधिकरण) से बात करूंगी। हमें पहले ही कुछ अच्छी सुविधाएं मिल रही हैं और इस बार हमें अच्छे नतीजे मिलने की उम्मीद हैं।

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